मोदी 3.0 मंत्रिमंडल में शामिल होने के लिए सांसद तंत्र-मंत्र का सहारा ले रहे हैं। बिहार और यूपी सहित देश के 4 राज्यों के 30 से अधिक सांसदों ने तो अनुष्ठान शुरू करा दिया है। इसमें बिहार के 12, यूपी के 6, राजस्थान के 4 और महाराष्ट्र के 6 सांसद शामिल हैं। ऑनलाइन और ऑफलाइन हुए इस अनुष्ठान में कई ऐसे सांसद हैं, जिनके परिवार में लंबे समय तक केंद्रीय मंत्रालय की जिम्मेदारी रही है।
तंत्र-मंत्र के लिए अलग पहचान वाली बिहार की धरती से सिद्धी पाने के लिए सांसदों ने तंत्र साधना करवाई है। बिहार और केंद्र सरकार को लेकर कई सटीक भविष्यवाणी करने वाले ज्योतिष विद्वान दावा करते हैं, संपर्क करने वाले 30 से अधिक सांसदों में से 12 के मंत्री बनने का प्रबल योग चल रहा है। इसमें सबसे अधिक बिहार के सांसद हैं। जानिए मोदी की नई कैबिनेट में शामिल होने के लिए सांसद कैसे ले रहे तंत्र मंत्र का सहारा, क्यों नीतीश और मोदी के नाम का बनवा रहे सम्मोहन यंत्र..।
सांसदों की तंत्र-मंत्र को लेकर आस्था जानिए
राजनेताओं की आस्था तंत्र-मंत्र और ज्योतिष में अधिक रहती है। चुनाव में नामांकन से लेकर काउंटिंग तक पूजा पाठ अनुष्ठान किसी से नहीं छिपा है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से लेकर सांसद विधायक तक सभी ज्योतिष और तंत्र-मंत्र का सहारा लेते हैं। हालांकि, यह कोई नया नहीं है, ऐसे पूजा अनुष्ठान पहले से होते आए हैं।
राजनेताओं का ज्योतिष और ग्रहों की चाल पर विश्वास का अंदाजा ऐसे भी लगाया जा सकता है कि हर बड़ा और सफल नेता हाथ में अलग-अलग ग्रहों के रत्न जरूर पहनता है। बिहार में लोकसभा चुनाव से पहले भी जीत के लिए सांसदों ने अनुष्ठान कराया था, अब मंत्री बनने के लिए तंत्र-मंत्र हो रहा है। ज्योतिष विद्वानों के मुताबिक कई ऐसे नेता रहे हैं, जिन्होंने सांसद बनने के लिए पूरे चुनाव में अनुष्ठान कराए हैं। उन्हें सफलता भी मिली है, इसलिए विश्वास बढ़ा है। उन्हें यह भी विश्वास है कि अनुष्ठान से वह मंत्री बन जाएंगे।
कई सटीक भविष्यवाणी करने वाले की सुनिए
बिहार के प्रमुख ज्योतिष विद्वान और साधक डॉ. श्रीपति त्रिपाठी ने अब तक कई राजनीतिक भविष्यवाणी की हैं जो सही साबित हुई हैं। पंडित श्रीपति त्रिपाठी का दावा है कि जब बिहार में राजद और जेडीयू की सरकार शांति से चल रही थी, उस समय ही उन्होंने नई सरकार की भविष्यवाणी कर दी थी।
सब कुछ सही चल रहा था, लेकिन 30 दिन में महागठबंधन की सरकार गिर गई। सरकार गिरने के बाद भी दावा किया कि अगली सरकार में सीएम नीतीश कुमार ही होंगे। वह भी पूरी तरह से सच साबित हुआ।
इतना ही नहीं जिन विधायकों के लिए मंत्री बनने का उपाय किया, उसमें से 70 प्रतिशत प्रमुख विभागों के मंत्री भी बन गए। डॉ. श्रीपति त्रिपाठी का दावा है कि लोकसभा चुनाव के दौरान भी उन्होंने यह दावा किया था कि मोदी की सरकार अल्पमत में होगी और सहारा लेकर सरकार बनाना पड़ेगा।
जब नीतीश कुमार को लोग कमजोर समझने लगे थे, तब उन्होंने कहा था कि शुक्र की दशा में उनका प्रभाव प्रबल होगा और वो निर्णायक भूमिका में होंगे। मौजूदा समय में नीतीश कुमार ने शुक्र ग्रह से प्रभावित होकर देश में अपनी ताकत का लोहा मनवा दिया है।
मंत्री की रेस में शामिल सांसदों की तंत्र पूजा जानिए
पंडित डॉ. श्रीपति त्रिपाठी कहते हैं कि अब तक उन्होंने कई दावे किए हैं, वह पूरी तरह से सही हुए हैं। बिहार के लगभग 12 सांसद संपर्क में हैं, वह तंत्र-मंत्र पूजा अनुष्ठान करा रहे हैं। वह लगातार बात कर रहे हैं। कई सांसदों ने तो आकर्षण तंत्र भी बनवाया है जो मोदी और नीतीश को पूरी तरह से प्रभावित कर सके।
यूपी के पूर्व मंत्रियों के बेटे ने किया संपर्क
पंडित श्रीपति त्रिपाठी का कहना है कि बिहार तंत्र-मंत्र को लेकर काफी खास रहा है। यहां इस विधा के जानकार हैं, इसलिए अन्य राज्यों से भी सांसद संपर्क कर रहे हैं। कुछ सांसदों को तो यहां के सांसदों ने ही इंट्रोड्यूज करा दिया है। इसमें बिहार के 12 से अधिक और यूपी के 8 से अधिक सांसदों के साथ महाराष्ट्र के 6 और राजस्थान के 4 सांसद शामिल हैं।
एस्ट्रो एक्स-रे से सफलता का प्रतिशत
ज्योतिष विद्वान पंडित श्रीपति त्रिपाठी कहते हैं, वह ज्योतिष की नई विधा पर काम करते हैं, इसका नाम एस्ट्रो एक्स-रे है। यह किसी भी व्यक्ति के जीवन का एक्स-रे होता है। अगर इसके अनुसार उपाय कर दिया जाए तो संबंधित इंसान के ग्रहों की दृष्टि अनुकूल हो जाती है।
इसमें सबसे बड़ा लाभ यह होता है कि जिस व्यक्ति का जन्म समय पता नहीं होता है उनकी भी ज्योतिषीय गणना सटीक हो जाती है। यह एस्ट्रोलॉजिकल एक्स-रे है, जो सांसदों की सफलता का प्रतिशत बता रहा है। इसके बाद तंत्र-मंत्र पूजा अनुष्ठान लेकर रत्नों का उपाय कराया जाता है। अधिकतर लोग आकर्षण तंत्र का सहारा ले रहे हैं।
संबंध में खटास डालकर बनना चाहते हैं मंत्री
ज्योतिष विद्वान पंडित श्रीपति त्रिपाठी के मुताबिक आकर्षण और विकर्षण दो तरह की विधा का इस्तेमाल किया जा रहा है। आकर्षण में सांसद मोदी और नीतीश के नाम का आकर्षण करा रहे हैं, जिससे उनके नाम पर आसानी से मुहर लग जाए। कई सांसद ऐसे भी हैं जो विकर्षण का सहारा ले रहे हैं, अगर कहीं उनका संबंध दूसरे सांसद के कारण कमजोर पड़ रहा है तो वह इस तंत्र के माध्यम से उस सांसद का संबंध कमजोर कराकर अपना मजबूत कराने के लिए विकर्षण क्रिया करा रहे हैं। जिसकी जैसी मंशा है, वह वैसा उपाय करा रहे हैं।
मोदी के नाम का आकर्षण तंत्र
पंडित श्रीपति त्रिपाठी कहते हैं कि बिहार के कई सांसदों ने मोदी के नाम का आकर्षण यंत्र बनवाया है। कुछ तो साथ लेकर गए हैं, कुछ यहीं से ही सम्मोहन क्रिया करा रहे हैं। इसमें कई ऐसे सांसद हैं जिनके पिता केंद्रीय मंत्री रहे हैं, कुछ के पिता मौजूदा मंत्री भी हैं। ऐसे सांसदों की लंबी लिस्ट है, लेकिन यह अत्यंत व्यक्तिगत और विश्वास का मामला है। इसलिए वह नाम का खुलासा नहीं कर सकते हैं। यह पूरी तरह से निजी मामला है। तंत्र-मंत्र कराने वालों में सबसे अधिक संख्या ऐसे लोगों की है जिनके परिवार में लोग मंत्री हैं या फिर पूर्व में मंत्री रहे हैं। ऐसे लोगों की जिज्ञासा काफी अधिक है।
30 में 12 से अधिक के मंत्री बनने का दावा
ज्योतिष विद्वान डॉ. श्रीपति त्रिपाठी कहते हैं, उन्होंने बिहार के 12 से अधिक सांसदों के लिए काम किया है, इसमें 5 से 6 का प्रबल योग दिख रहा है। इसमें बिहार के मंत्री निर्णायक भूमिका में होंगे। वह बड़े विभागों की कमान संभाल सकते हैं। अगर चारों प्रदेशों बिहार, राजस्थान, महाराष्ट्र और यूपी से संपर्क करने वालों सांसदों की बात करें तो 30 में लगभग 12 का मंत्री बनना तय लग रहा है। ऐसा लग रहा है कि अनुष्ठान पूरी तरह से सफल होता दिख रहा है।
ज्योतिष से जानिए नेताओं का इंट्रेस्ट
ज्योतिष के जानकारों का कहना है कि भाग्य पर सभी भरोसा करते हैं। फिल्म इंडस्ट्री और राजनीति में कुछ अधिक देखा जाता है। हर कोई भाग्य को बनाने के लिए बड़े-बड़े इंडस्ट्रियल वाले भी उपाय करते हैं। ज्योतिष तो जीवन का एक्स-रे यह जीवन में प्रकाश लाता है और इसे सफल बनाता है। ज्योतिष ही कल, वर्तमान और भविष्य को बताता है। नेताओं के ज्योतिष पर अधिक विश्वास के सवाल पर पंडित श्रीपति त्रिपाठी कहते हैं कि राजनीति में भाग्य का बड़ा रोल होता है। इसलिए राजनेता ज्योतिष तंत्र-मंत्र के साथ पूजा-पाठ पर अधिक भरोसा करते हैं। इसी कारण से बिहार से दिल्ली जाने वाले सांसद लगातार संपर्क में हैं।
अब मंत्रियों की भरमार होने वाली है, इसलिए हर कोई सफल होने के लिए ऐसे उपायों को भी छोड़ना नहीं चाहता है। कुछ सांसदों को वहीं पर उपाय में दर्शन-पूजन की भी सलाह दी गई है। बिहार के सांसदों के परिवार भी यहां व्यक्तिगत रूप से संपर्क में हैं। वह मंत्रिमंडल विस्तार होने तक अनुष्ठान कराने के लिए हर दिन संपर्क कर रहे हैं।
जानिए ज्योतिष से मंत्री बनने की कितनी गारंटी
मोदी जी तो गारंटी ले लेते हैं, लेकिन तंत्र-मंत्र से मंत्री बनने की गारंटी मुश्किल है। पूजा अनुष्ठान से मंत्री बनने की गारंटी के सवाल पर ज्योतिष विद्वानों का कहना है कि जो भी मंत्र बनाए गए हैं, वह काफी पावरफुल हैं। इसका सफल प्रयोग आज से नहीं अनादि से हो रहा है। ज्योतिष विद्वान या तंत्र साधक ऐसे मंत्रों से तो भक्त और भगवान के बीच पुल का काम करता है। भगवान से संबंधित भक्त के लिए मंत्रों के माध्यम से पैरवी की जाती है, यह सुनी भी जाती है जिससे लोगों का विश्वास भी बढ़ता जा रहा है।
डॉ. श्रीपति त्रिपाठी का दावा है कि 90 प्रतिशत उनकी भविष्यवाणी सही हुई है। लोकसभा से लेकर विधानसभा चुनाव में भी जिसके लिए उपाय किया गया वह जीतकर आए हैं। अनुष्ठान में कम से एक सप्ताह का समय लगता है, लेकिन बहुत कुछ गोपनीय चीज है जिसे सार्वजनिक रूप से बताया नहीं जा सकता है। वह मंत्र भी बताए जिससे संपुटित कर सम्मोहन तंत्र बनाते हैं।
मोदी और नीतीश को खुश करने का तंत्र
अधिकतर सांसदों ने अपने पार्टी के मुखिया और एनडीए के मुखिया के लिए सम्मोहन तंत्र बनवाए हैं। जिस तरह से मंदिर में जाने पर वाइब्रेशन होता है, ऐसे ही सम्मोहन वाले तंत्र भी जिसके लिए किए जाते हैं उन्हें वाइब्रेट करते हैं। वह ऐसे मंत्रों और तंत्र से आकर्षित होते हैं। यह किसी भी प्रकार की नकारात्मक शक्तियों को दुविधा को दूर कर सुविधा का रास्ता बनाता है। लोगों को आकर्षित करता है। जो संपर्क में हैं उसमें कुछ लोगों ने जंत्र ले लिया है, कुछ का तैयार हो जा रहा है।